श्री दुर्गा सप्तशती तीसरा अध्याय (Durga Saptashati Paath Adhyay 3)
सेनापतियों सहित महिषासुर का वध महर्षि मेधा ने कहा — महिषासुर की सेना नष्ट होती देखकर, उस सेना का सेनापति चिक्षुर क्रोध में भरकर देवी के साथ युद्ध करने के लिए आगे…
सेनापतियों सहित महिषासुर का वध महर्षि मेधा ने कहा — महिषासुर की सेना नष्ट होती देखकर, उस सेना का सेनापति चिक्षुर क्रोध में भरकर देवी के साथ युद्ध करने के लिए आगे…
सिद्ध कुञ्जिका स्तोत्रम् ॥ दुर्गा सप्तशती: सिद्धकुञ्जिकास्तोत्रम् ॥ शिव उवाच: शृणु देवि प्रवक्ष्यामि, कुञ्जिकास्तोत्रमुत्तमम् । येन मन्त्रप्रभावेण चण्डीजापः शुभो भवेत ॥1॥ न कवचं नार्गलास्तोत्रं कीलकं न रहस्यकम् । न सूक्तं…
जिस दिन भगवान श्री राम ने रावण का वध किया था, उसी दिन मां दुर्गा ने महिषासुर का वध किया था। अर्थात विजयदशमी का दिन। देवी भागवत की कथा के…
Durga Saptashati Paath Adhyay 2 : श्री दुर्गा सप्तशती दूसरा अध्याय महर्षि मेधा बोले — प्राचीन काल में देवताओं और असुरों में पूरे सौ वर्षों तक घोर युद्ध हुआ था। उनमें असुरों…
प्रत्येक सोमवार और श्रावण मास (सावन) के सोमवार को इसका पाठ अत्यंत फलदायी होता है। सुबह 4 से 6 बजे के बीच का समय सर्वश्रेष्ठ माना जाता है। यह समय…
ऋणमोचन महागणपति स्तोत्र (Rinmochan Mahaganpati Stotra) - शास्त्रों के अनुसार ऋणमुक्ति श्री गणेश स्तोत्र का नियमित रूप से प्रातःकाल पाठ करने से शीघ्र ही ऋण/कर्ज से छुटकारा मिल जाता है।…
श्री राम रक्षा स्तोत्रम् विनियोग: अस्य श्रीरामरक्षास्त्रोतमन्त्रस्य बुधकौशिक ऋषिः । श्री सीतारामचंद्रो देवता । अनुष्टुप छंदः। सीता शक्तिः । श्रीमान हनुमान कीलकम । श्री सीतारामचंद्रप्रीत्यर्थे रामरक्षास्त्रोतजपे विनियोगः । अथ ध्यानम्:…
क्षमा प्रार्थना दुर्गा सप्तसती पाठ समाप्त होने के उपरान्त अंत में क्षमा प्रार्थना करनी चाहिए और देवी से पाठ के दौरान जाने-अनजाने में हुई भूल के लिए क्षमा मांगनी चाहिए।…
श्री विन्ध्येश्वरी स्तोत्रम् निशुम्भ शुम्भ गर्जनी, प्रचण्ड मुण्ड खण्डिनी । बनेरणे प्रकाशिनी, भजामि विन्ध्यवासिनी ॥ त्रिशूल मुण्ड धारिणी, धरा विघात हारिणी । गृहे-गृहे निवासिनी, भजामि विन्ध्यवासिनी ॥ दरिद्र दुःख हारिणी,…
कीलक स्तोत्र प्रारम्भ महर्षि मार्कण्डेय जी कहते हैं-निर्मल ज्ञानरूपी शरीर धारण करने वाले देवत्रयी रूप दिव्य तीन नेत्र वाले, जो कल्याण प्राप्ति के हेतु हैं तथा अपने मस्तक पर अर्धचंद्र…